प्रतिबंधित चाइनिज मांझे की चपेट में नगर सैनिक, गले पर आया गहरा कट, प्रशासन पर उठ रहे सवाल
बीते कुछ महीनों से ऐसी कई घटनाएं सामने आयी हैं, जिसमें चाइनिज मांझे की चपेट में आने से लोगों की जान चली गयी. इसके बावजूद देश के कई हिस्सों में धड़ल्ले से आज भी इसकी बिक्री हो रही है. आज जिस दुर्घटना का हम जिक्र करने वाले हैं ये मध्य प्रदेश का है. जहां एक नगर सैनिक के इसकी चपेट में आने से गहरा कट लग गया, जिसने गंभीर घाव दिए हैं.

MP (छिंदवाड़ा): जिले में प्रतिबंध के बावजूद खुलेआम बिक रहा जानलेवा चाइनीज मांझा एक बार फिर गंभीर दुर्घटना का कारण बन गया है. आज शाम को चंदनगांव स्थित माता मंदिर के पास एक एक्टिवा सवार नगर सैनिक रामेश्वर सोनारे इस मांझे की चपेट में आकर बुरी तरह घायल हो गए.
दुर्घटना के दौरान मांझा उनके गले में फंस गया, लेकिन सौभाग्य से उन्होंने गर्म जैकेट पहनी हुई थी, जिससे उनका गला तो सुरक्षित रहा. हालांकि, मांझा फिसलकर उनके चेहरे पर आ गया और होंठ से लेकर गाल तक एक गहरा कट लग गया.
रामेश्वर सोनारे, जो वर्तमान में एसडीएम कार्यालय में तैनात हैं, को तत्काल एक निजी अस्पताल ले जाया गया. चिकित्सकों ने चेहरे पर आए गंभीर घाव की स्थिति देखते हुए नौ टांके लगाए. इस घटना ने एक बार फिर प्रशासन की सख्ती पर सवाल खड़े कर दिए हैं, क्योंकि चाइनीज मांझा प्रतिबंधित होने के बावजूद बाजार में धड़ल्ले से बिक रहा है. हालांकि इस मामले में कोतवाली टीआई (ट्रैफिक इंचार्ज) आशीष धुर्वे ने कहा कि एक पुलिस टीम बनाकर चाइनीज मांझा की अवैध बिक्री रोकने के खिलाफ मुहिम चलाई जाएगी और आम जनता से भी अपील की गई है कि इस जानलेवा मांझे का उपयोग न करें.
मध्य प्रदेश के ही धार में बीते रोज एक बच्चा इसी मांझे की चपेट में आकर घायल हो गया था. जिसके गले में मांझे से कट लग जाने के कारण बच्चा जख्मी हो गया था. कुछ दिनों में ही घटने वाली यह दूसरी घटना है, तब पर भी राज्य में इसकी बिक्री धड़ल्ले से की जा रही है. ऐसे में प्रशासन को अपनी जवाबदेही व जिम्मेदारी पर खासा ध्यान देने की आवश्यकता है.
क्यों खतरनाक है चाइनीज मांझा?
आपको बता दें पिछले कुछ सालों में मांझे से कटने से लोगों की मौत और पक्षियों के मरने के मामले तेजी से बढ़े हैं. खासतौर से स्वतंत्रता दिवस के मौके पर लोग पतंग उड़ाने के लिए छतों पर इकट्ठा हो जाते हैं. इसी को देखते हुए दिल्ली पुलिस ने एडवाइजरी जारी की है. नेशनल डिजास्टर मैनेजमेंट की रिपोर्ट की मानें तो मांझे से कटने के 70% शिकार टू व्हीलर वाले होते हैं वहीं 5000 से ज्यादा पक्षी हर साल जान गंवाते हैं. हाई टेंशन इलेक्ट्रिक तारों से टकराकर करंट का खतरा बढ़ जाता है. चाइनीज मांझामिट्टी-पानी में 50 साल तक नहीं गलता जो खतरनाक है.
कैसे बनता है चाइनीज मांझा?
नायलॉन-सिंथेटिक धागे पर कांच और मेटल पाउडर की कोटिंग वाले चाइनीज मांझे होते पक्के हैं. इससे बड़ी तेजी से दूसरों की पतंग भी कटती हैं, लेकिन ये जानलेवा भी हैं. चाइनीज मांझा ब्लेड से भी तेज होता है. ये प्लास्टिक से बना और मैटेलिक कोटिंग से तैयार होता है. चाइनीज मांझा प्लास्टिक के धागे जैसा होता है. इसे नायलॉन और मैटेलिक पाउडर से तैयार किया जाता है. इसमें एल्युमिनियम ऑक्साइड और लेड मिलाते हैं और फिर मांझे पर कांच या लोहे के चूरे से धार भी लगाई जाती है. जिससे ये बहुत खतरनाक हो जाता है. चाइनीज मांझा खींचने पर टूटने की बजाय स्ट्रेच हो जाता है.








